राजस्थान केंद्रीय विश्विद्यालय में दो दिवसीय राष्ट्रीय सम्मेलन का भव्य उद्घाटन।
अजमेर : महिला नेतृत्व और निर्णय-निर्धारण में महिलाओं की भूमिका को सशक्त करने के उद्देश्य से भारतीय सामाजिक विज्ञान अनुसंधान परिषद (ICSSR) के सहयोग से राजस्थान केंद्रीय विश्वविद्यालय के महिला प्रकोष्ठ द्वारा “विमेन इन डिसीजन-मेकिंग एंड लीडरशिप: शैटरिंग स्टीरियोटाइप्स एंड क्रिएटिंग फ्यूचर्स” विषय पर दो दिवसीय राष्ट्रीय सम्मेलन का आज भव्य उद्घाटन होगा। यह राष्ट्रीय सम्मेलन राजस्थान केंद्रीय विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो आनंद भालेराव के नेतृत्व मे आयोजित किया जा रहा है।
उद्घाटन समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में डीआरडीओ की महानिदेशक (पीसी एवं एसआई) डॉ चंद्रिका कौशिक तथा विशिष्ट अतिथि के रूप में राजस्थान सरकार की पूर्व मुख्य सचिव आईएएस उषा शर्मा उपस्थित होंगी।
कार्यक्रम का मुख्य आकर्षण “विमेन लीडरशिप इन डायवर्स एरेनास टू फोस्टर क्रिएटिविटी एंड इम्प्रूव डिसीजन-मेकिंग” विषय पर पैनल चर्चा होगी, जिसमें प्रतिष्ठित पैनलिस्ट प्रो (सेवानिवृत्त) बख्तावर एस महाजन, अध्यक्ष, बोर्ड ऑफ ट्रस्टीज, भारतीय महिला वैज्ञानिक संघ (आईडब्ल्यूएसए), मालिनी अग्रवाल, आईपीएस, एडीजीपी, नागरिक अधिकार और मानव तस्करी विरोधी, राजस्थान पुलिस, जोयिता मंडल, भारत की पहली ट्रांसजेंडर जज और क्लिनिकल साइकोलॉजिस्ट प्रदनया देशपांडे आदि शामिल होंगे।
कार्यक्रम के महत्व को बढ़ाते हुए, भारतीय महिला वैज्ञानिक संघ (आईडब्ल्यूएसए) की अजमेर शाखा का औपचारिक उद्घाटन आईडब्ल्यूएसए मुख्यालय, मुंबई के प्रतिनिधि द्वारा इस विशेष अवसर पर किया जाएगा।
दो दिवसीय राष्ट्रीय सम्मेलन का आयोजन राजस्थान केंद्रीय विश्वविद्यालय के महिला प्रकोष्ठ द्वारा संयोजक डॉ प्रगति जैन, सह-संयोजक डॉ तुलसी गिरी गोस्वामी और आयोजन सचिव डॉ गरिमा कौशिक के नेतृत्व में समर्पित टीम द्वारा आयोजित किया गया है।
100 से अधिक प्रतिभागियों द्वारा सम्मेलन के उद्देश्यों से जुड़े विभिन्न विषयों पर शोध पत्र प्रस्तुत करने की उम्मीद है, जिससे एक मजबूत ज्ञान विनिमय और नेटवर्किंग प्लेटफ़ॉर्म तैयार होगा।
इस सम्मेलन में महत्वपूर्ण महिला नेतृत्व और सशक्तिकरण मुद्दों पर विस्तार पूर्वक चर्चा होगी। सम्मेलन का उद्देश्य लैंगिक रूढ़ियों को खत्म करने, नवाचार को बढ़ावा देने और निर्णय लेने और नेतृत्व की भूमिकाओं में महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए संवाद और कार्रवाई को प्रेरित करना है।