हरियाणा केंद्रीय विश्वविद्यालय में मानविकी एवं सामाजिक विज्ञान पीठ के विद्यार्थियों के लिए दीक्षारंभ कार्यक्रम का हुआ आयोजन
विश्वविद्यालय देता है विद्यार्थियों को बुद्धिमत्ता विकास का अवसर – प्रो टंकेश्वर कुमार
महेंद्रगढ़ : हरियाणा केंद्रीय विश्वविद्यालय (हकेवि) में शैक्षणिक सत्र 2024-25 के अंतर्गत मानविकी एवं सामाजिक विज्ञान पीठ के विद्यार्थियों के लिए मंगलवार को दीक्षारम्भ कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो टंकेश्वर कुमार उपस्थित रहे। उन्होंने इस अवसर पर विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए कहा कि विद्यार्थियों के लिए यह समय शिक्षा से दीक्षा की ओर परिवर्तन का समय है और अब आवश्यकता है ज्ञान के साथ-साथ बुद्धिमत्ता का विकास करने की। कुलपति ने विद्यार्थियों को आने वाले समय में सर्वांगीण विकास हेतु किताबी ज्ञान के साथ-साथ विश्वविद्यालय के स्तर पर उपलब्ध अन्य व्यावहारिक पक्षों की जानकारी व कौशल के सर्वोत्तम विकास के लिए प्रेरित किया।
विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. टंकेश्वर कुमार ने विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए कहा कि हरियाणा का नाम भगवान के नाम ‘हरि‘ से शुरु होता है। यह वह भूमि है जहाँ भगवान श्रीकृष्ण ने गीता का संदेश दिया। कुलपति ने कहा कि आज समूचे विश्व में गीता के संदेश को स्वीकार्यता है। उन्होंने विद्यार्थियों से कक्षा के साथ-साथ विश्वविद्यालय में होने वाले आयोजनों से सीखने की अपील की। कुलपति ने विद्यार्थियों से कहा कि स्नातक की पढ़ाई के बाद अब समय उच्च शिक्षा के साथ-साथ उद्यमिता विकास की ओर अग्रसर होने का है। अब सफलता के लिए केवल डिग्री ही पर्याप्त नहीं है। आपको समाज व कार्यक्षेत्र की आवश्यकताओं के अनुरूप खुद को तैयार करना होगा। बात चाहे नौकरी की हो, उच्च शिक्षा की हो या उद्यमिता विकास की हो, सभी स्तर पर आपके द्वारा अर्जित ज्ञान व कौशल एक प्रमुख सहयोगी की भूमिका निभाएगा।
इसी क्रम में विश्वविद्यालय की समकुलपति प्रो सुषमा यादव ने विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए कहा कि आज का आयोजन समाज विज्ञान के पाठ्यक्रमों के विद्यार्थियों हेतु आयोजित किया गया है। अवश्य ही यहाँ उपस्थित विद्यार्थियों की भूमिका समाज व देश के प्रति अधिक है और मुझे आशा है कि हमारे विद्यार्थी भविष्य निर्माण के इस बदलाव में उल्लेखनीय सफलता हासिल करेंगे। यह आयोजन विशेष रूप से उन्हें विश्वविद्यालय से अवगत कराने हेतु आयोजित किया गया है। समकुलपति ने अपने संबोधन में पंच कोषीय विकास का उल्लेख करते हुए आन्नमय कोष, प्राणम कोष, मनोमय कोष, विज्ञान कोष और आनंदमय कोष का उल्लेख करते हुए विद्यार्थियो को अपने समाज के, देश के व मानव कल्याण के विकास में योगदान देने के लिए प्रेरित किया।
कार्यक्रम की शुरुआत में छात्र कल्याण अधिष्ठाता प्रो आनंद शर्मा ने विद्यार्थियों को दीक्षारंभ कार्यक्रम के महत्त्व व उद्देश्यों से अवगत कराते हुए विश्वविद्यालय में उपलब्ध विभिन्न सुविधाओं, संसाधनों व विद्यार्थी हितैषी प्रयासों को विद्यार्थियों के समक्ष प्रस्तुत किया। आयोजन में सम्मिलित विश्वविद्यालय के कुलसचिव प्रो. सुनील कुमार व शैक्षणिक अधिष्ठाता प्रो. संजीव कुमार ने भी विद्यार्थियों का मार्गदर्शन किया। कार्यक्रम में डॉ. पायल चंदेल ने छात्रावास से संबंधित जानकारी विद्यार्थियों से साझा की। कार्यक्रम के अंत में सहायक छात्र कल्याण अधिष्ठाता डॉ. नीरज कर्ण सिंह ने विश्वविद्यालय में उपलब्ध विभिन्न प्रकोष्ठ व क्लब की जानकारी देते हुए धन्यवाद ज्ञापित किया। इस अवसर पर मानविकी एवं सामाजिक विज्ञान पीठ के शिक्षक एवं विद्यार्थी उपस्थित रहे।